मेरी कलम से

Saturday, July 2, 2011

कल तेरी तस्वीर देखी तो याद आया


कल तेरी तस्वीर देखी तो याद आया 
हम भी कभी मोहब्बत किया करते थे
जब तेरे शहर मे रहा करते थे 
हम भी चुपचाप जिया करते थे
आँखों में प्यास हुआ करती थी 
दिल में तूफान उठा करते थे
कल तेरी तस्वीर देखी तो याद आया 
हम भी कभी मोहब्बत किया करते थे
लोग आते थे ग़ज़ल सुनाने
हम तेरा जिक्र किया करते थे
किसी वीराने में तुझसे मिलकर
दिल में क्यों फूल खिला करते थे
कल तेरी तस्वीर देखी तो याद आया 
हम भी कभी मोहब्बत किया करते थे
घर की दिवार सजाने की खातिर 
हम तेरा नाम लिखा करते थे
तेरा नाम ही जीने का सहारा था 
तेरा नाम लेकर ही जिया करते थे
कल तेरी तस्वीर देखी तो याद आया 
हम भी कभी मोहब्बत किया करते थे 

1 comment:

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विकास कुमार गर्ग